समकालीन क्षणिका ब्लॉग अंक-03 / 14 फ़रवरी 2018
‘समकालीन क्षणिका’ के दोनों मुद्रित अंकों के बाद चयनित क्षणिकाएँ। भविष्य में प्रकाशित होने वाले अंक में क्षणिकाओं का चयन इन्हीं में से किया जायेगा।
सभी रचनाकार मित्रों से अनुरोध है कि क्षणिका सृजन के साथ अच्छी क्षणिकाओं और क्षणिका पर आलेखों का अध्ययन भी करें और स्वयं समझें कि आपकी क्षणिकाओं की प्रस्तुति हल्की तो नहीं जा रही है!
सोनिया गुप्ता
01.
खुद का अस्तित्व
खुद की परछाई है
इससे कोई भी बात
मन की न छुप पाई है!
02.
जिन्दगी पहेली है
सुख दुःख की सहेली है
कौन जाने इसका परिचय
कभी सड़क तो कभी हवेली है!
- 95, आदर्शनगर, डेरा बस्सी, जिला मोहाली-140507, पंजाब/मो. 08054951990