समकालीन क्षणिका खण्ड-01 अप्रैल 2016
क्षणिका की लघु पत्रिका ‘समकालीन क्षणिका’ के खण्ड अप्रैल 2016 में प्रकाशित शिव डोयले जी की क्षणिकाएँ।
शिव डोयले
01. माँ पढ़ी-लिखी नहीं है माँ पर चेहरा/पढ़ लेती है गाली देना तक नहीं आता लेकिन बेटे के/खातिर ज़माने से लड़ लेती है 02. सौंदर्य ब्याह की पहली रात को खिड़की से झाँका था चाँद ने तब तेरा जिक्र जरूर किया था मैंने 03. दिखावा
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रेखाचित्र : शशिभूषण बड़ोनी |
- झूलेलाल कॉलोनी, हरीपुरा, विदिशा-464001 (म.प्र.)/मो. 09685444352
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