Sunday, July 2, 2023

क्षणिका चयन-01 : मुद्रित अंक 01 व 02 के बाद

समकालीन क्षणिका                          ब्लॉग अंक-03/287                     जुलाई 2023 

क्षणिका विषयक आलेखों एवं विमर्श के लिए इन लिंक पर क्लिक करें-

01. समकालीन क्षणिका विमर्श { क्षणिका विमर्श}
02. अविराम क्षणिका विमर्श {क्षणिका विमर्श}

रविवार  : 02.07.2023
‘समकालीन क्षणिका’ के दोनों मुद्रित अंकों के बाद चयनित क्षणिकाएँ। भविष्य में प्रकाशित होने वाले अंक में क्षणिकाओं का चयन इन्हीं में से किया जायेगा।

सभी रचनाकार मित्रों से अनुरोध है कि क्षणिका सृजन के साथ अच्छी क्षणिकाओं और क्षणिका पर आलेखों का अध्ययन भी करें और स्वयं समझें कि आपकी क्षणिकाओं की प्रस्तुति हल्की तो नहीं जा रही है!  


कविता भट्ट ‘शैलपुत्री’



 


01. प्रणय-निवेदन


जिस उम्मीद से

किसान देखता है

आकाश की ओर

उसी उम्मीद-सा है, प्रिय!

तुम्हारा प्रणय-निवेदन।


छायाचित्र : उमेश महादोषी 
02. अथाह प्रेम



उसने कहा-

मुझे तुमसे अथाह प्रेम है

मैंने कहा-

तुम्हें यह प्रेम मुझसे है

या स्वयं से!


  • II S-3, B.T. HOSTEL, UNIVERSITY CAMPUS, MADHI CHAURAS, P.O. KILKILESHWAR, TEHRI,Garhwal- 249161 Uttarakhand

No comments:

Post a Comment